गणतंत्र दिवस पर तिरंगे का अपमान दुर्भाग्यपूर्ण – राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद

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गणतंत्र दिवस पर तिरंगे का अपमान दुर्भाग्यपूर्ण - राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद

नई दिल्ली। संसद का बजट सत्र आज राष्ट्रपति के अभिभाषण के साथ शुरू हो रहा है। इससे पहले संसद के संयुक्त सत्र को राष्ट्रपति ने संबोधित किया। गणतंत्र दिवस पर हुए तिरंगे के अपमान पर राष्ट्रपति ने कहा कि गणतंत्र दिवस पर हुए तिरंगे का अपमान दुर्भाग्यपूर्ण है। कानून और नियमों का पालन करना चाहिए।

कृषि सुधार बिल को राष्ट्रपति ने महत्वपूर्ण बताया। राष्ट्रपति ने अपने अभिभाषण में कहा कि छोटे किसानों को होने वाले लाभों को देखते हुए अनेकों राजनैतिक दलों ने कृषि कानूनों का समर्थन किया था। सुप्रीम कोर्ट ने इन कानूनों को लेकर कुछ निर्देश दिए हैं। सरकार उसका भी पालन करेगी।

राष्ट्रपति कोविंद ने कहा कि चुनौती चाहे कितनी बड़ी क्यों न हो। न हम रुकेंगे और न ही भारत रुकेगा। एकजुटता और बापू की प्रेरणा ने हमें सैकड़ों सालों की गुलामी से आजादी दिलाई थी। भारत की महानता परम सत्य है। एक हो जाओ। आज हम भारतीयों की यही एकजुटता हमें कई समस्याओं से बाहर लेकर आई है। कोरोना, भूकंप, बाढ़,
सीमा पर भी अप्रत्याशित तनाव हुए। हम लोग एकजुट होकर इन समस्याओं से आगे आए

राष्ट्रपति ने कहा कि आत्मनिर्भर भारत अभियान केवल भारत में निर्माण करने भर का नहीं है, बल्कि भारत के लोगों को मजबूत करने का भी अवसर है। इससे भारतीय कृषि मजबूत बनेगी। स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों को लागू करते हुए MSP डेढ़ गुना बढ़ाई गई है। MSP पर रिकॉर्ड खरीदारी कर रही है, बल्कि खरीददारी केंद्रों को भी बढ़ा रही है।

राष्ट्रपति कोविंद ने कहा कि पुरानी सिंचाई परियोजनाओं के साथ आधुनिक सिंचाई तकनीक को भी किसानों तक पहुंचा रही है। माइक्रो एरिगेशन से किसानों को जोड़ा जा रहा है।