कर्सियांग से भाजपा विधायक विष्णु प्रसाद शर्मा ने पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्डा को पत्र लिखकर दार्जिलिंग को बंगाल से अलग करने की मांग की है। केंद्रीय मंत्री पद की शपथ लेने से पहले अलीपुरद्वार से भाजपा सांसद जान बारला ने भी इस मुद्दे को उठाया था।
बारला ने वर्ष की शुरुआत में उत्तर बंगाल के जिलों के लिए एक केंद्र शासित प्रदेश की मांग की थी, जिससे राज्य में एक बहस छिड़ गई थी। इसके बाद पश्चिम बंगाल में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) ने भाजपा पर अलगाववाद को बढ़ावा देने का आरोप लगाया था।
शर्मा ने दावा किया कि राज्य के लोग बंगाल का हिस्सा नहीं रहना चाहते और पर्वतीय क्षेत्र में राज्य दर्जे को लेकर कई हिंसक आंदोलन हुए हैं। पत्र को लेकर शर्मा ने सोमवार को कहा कि हां, मैंने अपनी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष को पत्र लिखकर उनसे 2019 के लोकसभा चुनावों और 2021 के विधानसभा चुनावों के दौरान किए गए एक स्थायी राजनीतिक समाधान के वादे का सम्मान करने का अनुरोध किया है।
मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया है कि पर्वतीय क्षेत्र के लोगों ने 2009 के लोकसभा चुनाव के बाद से भाजपा को वोट दिया है। उन्होंने कहा कि उनके लिए स्थाई राजनीतिक समाधान का मतलब बंगाल के चंगुल से मुक्ति है-चाहे वह अलग राज्य के तौर पर हो या केंद्र शासित प्रदेश।
इस मुद्दे पर शर्मा से जब पूछा गया कि क्या राज्य के भाजपा नेताओं की भी यही राय है तो इस इसपर उन्होंने कहा कि इस मांग का पार्टी की बंगाल इकाई से कोई लेना-देना नहीं है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार, केंद्र और पर्वतीय क्षेत्र के हितधारकों को बैठकर तय करना है कि क्या किया जा सकता है। मैंने इस संदर्भ में अपने राष्ट्रीय अध्यक्ष को पत्र लिखा है।