लॉकडाउन के बाद बाजारों में सन्नाटा, मजदूरों का पलायन तेज

0
15
दिल्ली से मजदूरों का पलायन

राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में लॉकडाउन के पहले दिन मंगलवार को भीड़भाड़ वाले बाजारों में भी सन्नाटा पसरा रहा और रेलवे स्टेशनों और बस अड्डों पर अपने घर को जाने के लिए मजूदरों की भारी भीड़ जुट रही है।

बता दें कि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने सोमवार को लॉकडाउन की घोषणा की थी। इसके बाद मजदूरों की भारी भीड़ आनंद बिहार बस अड्डा और रेलवे स्टेशन, अंतरराज्यीय बस अड्डे पर जुटने लगी। यह भीड़ लगातार बढ़ती ही जा रही है। नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पर भी बड़ी संख्या में मजदूर अपने-अपने राज्यों की ओर लौटने के लिए एकत्रित हुए थे।

दिल्ली में कोरोना के मामलों में उछाल के बाद केजरीवाल ने उपराज्यपाल अनिल बैजल के साथ बैठक के बाद अगले सोमवार सुबह पांच बजे तक के लिए लॉकडाउन की घोषणा की थी और मजदूरों से अपने घर नहीं लौटने की अपील की थी।

मुख्यमंत्री के लॉकडाउन की घोषणा के बाद आनंद बिहार, कौशाम्बी बस अड्डे में लोगों की भारी भीड़ जमा हो गयी और कोविड के नियमों की धज्जियां उड़ गई। यहां पर सोशल डिस्टेंसिंग जैसी कोई चीज नहीं दिख रही है। अधिकांश लोगों का कहना है कि कोरोना महामारी पर नियंत्रण के बाद ही वे सभी दिल्ली लौटेंगे। कुछ कारखानों के बंद रहने के बाद मजदूर वापस अपने घरों को लौट रहे थे।

राजधानी के सबसे व्यस्त कनॉट प्लेस में भी आज दुकानें बंद रही और सड़कों पर सन्नाटा पसरा रहा। जगह-जगह सुरक्षा कर्मी तैनात थे, जो आने-जाने वाले लोगों की जांच पड़ताल कर रहे थे।

कई व्यवसायिक संगठनों ने खुद ही बंद की घोषणा की है। इनमें पुरानी दिल्ली का चांदनी चौक, खारी बावली, सदर बाजार और गांधी नगर आदि शामिल हैं। राष्ट्रीय राजधानी में सार्वजनिक परिवहन और मेट्रो की सेवा जारी है, लेकिन इनमें सीमित संख्या में लोगों के आने-जाने की इजाजत है।

दिल्ली में लॉकडाउन के दौरान आवश्यक सेवाओं में खानपान और मेडिकल की सेवा को मुक्त रखा गया है। इस दौरान केन्द्र सरकार के कार्यालय खुले रहेंगे।